पटना : नियोजित शिक्षकों के द्वारा विधानसभा घेराव के लिए भारी संख्या में शिक्षक पटना पहुचें है. उनका कहना है कि हम कई दशकों से नौकरी कर रहे हैं. हमें कंप्यूटर चलाना नहीं आता है. हम ऑनलाइन परीक्षा कैसे दें. बरहाल शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक की चेतावनी नहीं मान रहे है. सक्षमता परीक्षा के विरोध में पटना की सड़कों पर नियोजित शिक्षकों का जमावड़ा देखने को मिल रहा है. बिहार के अलग-अलग जिले से हजारों की संख्या में नियोजित शिक्षक विधानसभा का घेराव करने के लिए राजधानी पटना पहुंचे हुए हैं. इन शिक्षकों को विधानसभा जाने से रोकने के लिए भारी पुलिस बल की तैनाती की गई है. नियोजित शिक्षकों का कहना है कि हमें बिना किसी शर्त राज्यकर्मी का दर्जा मिलना चाहिए.
शिक्षक एकता मंच एक शिक्षकों का कहना है कि केके पाठक से हमें डर नहीं लगता है. हमारा हक है प्रदर्शन करना, अगर वो कारवाई करते हैं तो करें. हम डरने वाले नहीं हैं. एक महिला शिक्षिका ने कहा कि अब रिटायरमेंट में कुछ साल बचे हैं, ऐसे में फिर से परीक्षा देने को बोला जा रहा है. यह हमें मंजूर नहीं है. सरकार को बिना किसी शर्त के हमें राज्यकर्मी का दर्जा देना होगा.
नियोजित शिक्षकों के आक्रोश के बीच शिक्षा मंत्री विजय चौधरी का बड़ा बयान आया है. उन्होंने कहा कि समिति की जो अनुशंसा आई है उसपर अभी सरकार ने मुहर नहीं लगाई है. सक्षमता परीक्षा में फेल होंगे तो शिक्षक की नौकरी चली जाएगी, इसपर अभी अन्तिम फैसला नहीं हुआ है. सरकार पूरे मामले को दिखेगी शिक्षकों के हित को भी देखेगी और शिक्षकों की बात भी सुनेगी.
शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक ने सभी डीएम को धरना प्रदर्शन में शामिल होने वाले शिक्षकों के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया है. केके पाठक ने सक्षमता परीक्षा के विरोध में धरना प्रदर्शन में शामिल होने वाले शिक्षकों पर एफआईआर (FIR) दर्ज करने का आदेश दिया था. साथ ही किसी को भी आकस्मिक छुट्टी नही देने का ऐलान किया था. केके पाठक की चेतावनी के बावजूद हजारों की संख्या में नियोजित शिक्षक पटना पहुंचे हुए हैं.