रांची ; झारखंड कर्मचारी चयन आयोग ने स्नातकोत्तर प्रशिक्षित शिक्षक भर्ती प्रक्रिया में बड़ा निर्णय लेते हुए 44 अभ्यर्थियों की उम्मीदवारी रद्द कर दी है। इनमें संस्कृत विषय के 34 और इतिहास विषय के 10 उम्मीदवार शामिल हैं। आयोग ने स्पष्ट किया है कि जिन उम्मीदवारों ने अपने मूल विषय से अलग किसी अन्य विषय में स्नातकोत्तर की डिग्री हासिल की थी, उनकी उम्मीदवारी अमान्य मानी गई है। उदाहरणस्वरूप संस्कृत की जगह संस्कृत साहित्य, ज्योतिष, नव्य व्याकरण या आचार्य से स्नातकोत्तर करने वाले अभ्यर्थियों को अपात्र घोषित कर दिया गया है। इसी तरह इतिहास की जगह मध्यकालीन इतिहास या प्राचीन इतिहास विषय से स्नातकोत्तर करने वाले भी चयन प्रक्रिया से बाहर कर दिए गए हैं।आयोग ने यह भी कहा है कि 13 अप्रैल 2022 से पहले एक ही समय पर दो समानांतर कोर्स करने वाले उम्मीदवार भी योग्य नहीं माने जाएंगे। इस श्रेणी में संस्कृत विषय के दो और इतिहास विषय के एक अभ्यर्थी शामिल हैं।वहीं स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग ने काउंसलिंग के दौरान मिले मामलों की जांच की। इस प्रक्रिया में संस्कृत और इतिहास विषय के कुल 10 अभ्यर्थियों की अनुशंसा आयोग को वापस लौटा दी गई। इसके अलावा जिन उम्मीदवारों ने समय पर प्रमाणपत्र जांच में उपस्थिति नहीं दी या स्वच्छता प्रमाणपत्र जमा नहीं किया, उनकी उम्मीदवारी भी रद्द कर दी गई। इनमें इतिहास के 10 और संस्कृत के चार उम्मीदवार शामिल हैं।आयोग ने बताया कि हाई कोर्ट के आदेश पर संस्कृत और इतिहास विषय के 14 अभ्यर्थियों का परिणाम अभी रोका गया है। इन मामलों पर अंतिम निर्णय कोर्ट के आदेश के बाद ही लिया जाएगा।