झारखंड में फिल्मों निर्माण और स्थानीय कलाकारों को शामिल करने वाली फिल्मों को सब्सिडी दे रही है सरकार – रामलखन प्रसाद गुप्ता

झारखंड फिल्म नीति-2015 इतनी आकर्षक है कि बॉलीवुड के साथ-साथ हॉलीवुड भी यहां फिल्म बनाने के लिए प्रोड्य़ूसर्स और डायरेक्टर्स आ रहे हैं. अबतक 150 से ज्यादा फिल्मों के प्रपोजल मिल चुके हैं. सूचना एवं जन संपर्क विभाग के निदेशक-सह अध्यक्ष झारखंड फिल्म डेवलपमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड श्री राम लखन प्रसाद गुप्ता ने नागपूरिया फिल्म फूलमनिया के प्रमोशन के लिए आय़ोजित प्रेस वार्ता मे ये बातें कही. उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय फिल्मों और स्थानीय कलाकारों को फिल्म इंडस्ट्री में प्लेटफॉर्म देने के लिए सरकार की ओर से कई कदम उठाए गए हैं. यहां के आकर्षक लोकेशंस पर फिल्मों की शूटिंग करने और ज्यादा से ज्यादा स्थानीय कलाकारों को फिल्म में शामिल करने पर सब्सिडी दी जा रही है.

श्री गुप्ता ने बताया कि राष्ट्रीय स्तर पर आय़ोजित होने वाले फिल्म बाजार कार्यक्रम में झारखंड की भी भागीदारी होगी. यहां देश-विदेश के कलाकारों और फिल्म निर्माताओं को झारखंड की फिल्म पॉलिसी से अवगत कराने के साथ यहां के बेहतरीन लोकेशंस के बारे बताया जाएगा, ताकि वे यहां शूटिंग के लिए आएं. उन्होंने बताया कि गोवा फिल्म फेस्टिवल में भी झारखंड की भागीदारी थी, जिसका काफी फायदा देखने को मिल रहा है.

झारखंड फिल्म इंडस्ट्री को स्थापित करने के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है. यहां शूटिंग करने के लिए आनेवाली टीमों को टेक्निकल सेटअप उपलब्ध कराने के लिए तैयारियां शुरु कर दी गई हैं. इसके उपरांत फिल्मों को शूटिंग के बाद यहीं एडिटिंग समेत अन्य तकनीकी सुविधाएं उपलब्ध होंगी. इसके अलावा राज्य के मल्टीप्लेक्स और सिनेमाघरों में क्षेत्रीय फिल्मों का कुछ शो अनिवार्य रुप से दिखाने की व्यवस्था के लिए भी प्रयास किए जा रहे हैं.

श्री गुप्ता ने फिल्म फूलमनिया के कलाकारों को बेहतर काम के लिए बधाई दी है. यह फिल्म सफल हो, इसकी शुभकामनाएं देते हुए कहा कि इस फिल्म के प्रचार-प्रसार तथा सुदूर इलाकों में ग्रामीणों को दिखाने के लिए सरकार के एलइडी वैन का भी इस्तेमाल किया जाएगा. उन्होंने कहा कि फिल्में समाज का आईना होती है. ऐसे में झारखंड फिल्म डेवलपमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड के सहयोग से डायन प्रथा, लिंगभेद और बांझपन के थीम पर बनी यह फिल्म निश्चित तौर पर ऐसी सामाजिक कुरीतियों के प्रति लोगों को जागरुक करने में समर्थ होगी.

सूचना एवं जन संपर्क विभाग के सहायक निदेशक श्री राशिद अख्तर ने कहा कि फिल्मों में झारखंड के ज्यादा से ज्यादा कलाकारों को शामिल करने पर एडिशनल इंसेंटिव सरकार दे रही है. इसके अलावा झारखंड में फिल्मों की शूटिंग के आधार पर फिल्मों को सब्सिडी दी जाती है. जो निर्माता यहां के लोकेशंस पर ज्यादा से ज्यादा शूटिंग करने के साथ स्थानीय कलाकारों को काम देती है, उसे उसी के हिसाब से सब्सिडी देने का प्रावधान फिल्म नीति-2015 में है.

नागपुरी में बनी फिल्म फूलमनिया 6 सितंबर को सिनेमाघरों और मल्टीप्लेक्स में रिलीज होगी. फिल्म के निदेशक श्री लाल विजय शाहदेव ने बताया कि यह सिर्फ यह फिल्म नहीं बल्कि एक मुहिम है. झारखंड में व्याप्त डायन प्रथा, लिंगभेद और बांझपन थीम पर बनी इस फिल्म के जरिए सामाजिक कुरीतियों पर प्रहार किया गया है. इस फिल्म को कांस फिल्म फेस्टिवल में भी काफी सराहा गया और पश्चिम बंगाल, असम, छत्तीसगढ़ से भी फिल्म को रिलीज करने की मांग हो रही है. उन्होंने बताया कि इस फिल्म की 85 प्रतिशत शूटिंग झारखंड के अलग-अलग लोकेशंस पर की गई है और अधिकतर कलाकार इसी राज्य के हैं.

इस मौके पर फिल्म में फूलमनिया का किरदार निभाने वाली सुश्री कोमल सिंह, बॉलीवुड कलाकार श्री विनीत कुमार, फिल्म के संगीतकार श्री नंदलाल नायक, फिल्म की निर्माता नीतू अग्रवाल समेत फिल्म से जुड़े लोग मौजूद थे.

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